जयपुर एक बहुत ही खुबसुरत शहर :- जयपुर
राजस्थान की राजधानी है | यह भारत के पुराने शहरों में से एक है | इसे पिंक सिटी
के नाम से भी जाना जाता है | यह शहर एक आधे रेगिस्तान के भाग में स्थित है | यह एक
बहुत ही खुबसुरत शहर है | जयपुर भारत का पहला ऐसा शहर है जिसे वास्तुशास्त्र के
अनुसार बनाया गया था | यह वास्तुशास्त्र के आठ मंडल से मिलाकर बनाया गया शहर है | यह
स्थान वास्तुकला का एक शानदार उदारहण है |
जयपुर एक खुबसुरत पिंक सिटी |
जयपुर शहर में अनेक किले , महल और हवेलियाँ है | जिसके कारण जयपुर शहर पुरे भारत में प्रसिद्ध है | इस स्थान को देखने के लिए भारी संख्या में पर्यटक आते है | इसके आलावा दुसरे देश के लोग भी यंहा भारत की पुरानी एतिहासिक विरासत देखने के लिए आते है |जयपुर में देखने लायक स्थान निम्नलिखित है |
1.
अम्बेर किला2.
नाहरगढ़ किला3.
हवा महल4.
शीश महल5.
गणेश पोल6.
जल महल आदि | यंहा के प्रमुख पर्यटन स्थल है |
इस त्यौहार के आलावा जयपुर में एक और
प्रसिद्ध त्यौहार मनाया जाता है | जिसे एलिफेंट फेस्टिवल्स के नाम से जाना जाता है
| इस मेले का आयोजन हर साल होली के शुभ अवसर पर किया जाता है | यह हिन्दुओं का
प्रमुख त्यौहार माना जाता है | इस त्यौहार में हाथियों को विभिन्न प्रकार से सजाया
जाता है और साथ ही साथ कई अच्छे – अच्छे कार्यक्रम किये जाते है |
गणगौर महोत्सव :- जयपुर के लोग गणगौर महोत्सव को भी बड़े धूम – धाम से मनाते है | गण का अर्थ है हिन्दुओं के भगवान शिव और गौर अथार्त पार्वती | यानि गणगौर का सही अर्थ है शिव और पार्वती | यह त्यौहार एक शादीशुदा जीवन में ख़ुशी का प्रतीक होता है | जिसे यंहा के लोग बड़े प्रेम भाव और श्रध्दा से मनाते है |
एलिफेंट महोत्सव |
जयपुर में और त्यौहारों के भी मेले लगते
है जैसे :-1.बाणगंगा मेला
2तीज का मेला
3. होली का मेला
4.चाकसू का मेला आदि |
2तीज का मेला
3. होली का मेला
4.चाकसू का मेला आदि |
सिटी पैलेस :- यह पैलेस भूरे रंग के संगमरमर स्तंभ पर टिका हुआ है | इस पैलेस में विभिन्न प्रकार की नक्क्शी की हुई है | इसके आलावा इसे रंगीन फूलों की आकृति से सजाया गया है | इसके प्रवेश द्वार पर हाथी की नक्क्शी की गई है जो एक प्रहरी की तरह खड़ा है | इस पैलेस की जिस परिवार ने लगातार सेवा की है वे लोग आज एक गाइड के रूप में कार्य करते है | इस पैलेस के संग्रालय में राजस्थान के पोशाक हथियार और तराश की हुई तलवारे भी है | ये तलवार राजाओं के द्वारा सजाई हुई म्यानों में उपस्थित है | यह सब दृश्य देखने में अद्भुत् और अद्वितीय लगता है |
अम्बेर किला |
जयपुर का जन्तर – मंतर :- यह रजा जयसिंह की पांच
सबसे बड़ी वेधशालों में से एक है | इस वेधशाला को वैज्ञानिक तरीके से बनाया गया है
| यंहा पर एक राम यंत्र है जिसका उपयोग ऊंचाई नापने के लिए किया जाता है |
हवा महल :- यह महल राजपूतों द्वारा स्थापित किया
गया है | यह इमारत पांच मंजिल की है जिसका रंग गुलाबी है | यह इमारत अर्धअष्टभुजाकार
बलुए पत्थर की बनी खडकी से सजाई हुई है |
जयपुर का जलमहल |
नाहरगढ़ :- जयगढ़ की पहाड़ियों के पीछे स्थित
गुलाबी शहर का पहरेदार है | इस गढ़ का कुछ हिस्सा ध्वस्त हो गया है | लेकिन इस इमारत की
रौनक वैसी ही है जैसे पहले समय में थी |
शीशमहल की तस्वीर |
जयपुर का प्रसिद्ध मेला :- इस स्थान पर लोग किलों , महलों और एतिहासिक इमारत
के देखने के आलावा मेले का भी आनन्द लेने के लिए आते है | यंहा हर साल त्यौहारों
का मेला लगता है | जो देश भर में प्रसिद्ध है | जयपुर में एक वार्षिक त्यौहार
मनाया जाता है | जिसका नाम विंटेज कार रैली है | यह त्यौहार हर साल जनवरी महीने
में मनाया जाता है | कार प्रेमी यंहा आकार विभिन्न प्रकार की कारों का लुफ्त उठाते
है | यह पर्यटकों के बीच काफी प्रसिद्ध है | यह रैली यात्रियों के आकर्षण का केंद्र
है |इस रैली में कुछ पुरानी कारों का भी प्रयोग किया जाता है |
चाकसू से २ किलोमीटर पहले शीतला माता का मन्दिर है | जिसमे हर साल कृष्ण
अष्टमी का मेला लगता है | इस मेले में लाखों की संख्या में भक्तगण इक्कठा होते है
|
मोती डंगूरी और लक्ष्मी नारायण का मंदिर :- यह मन्दिर एक स्थानीय पहाड़ी पर बना
हुआ | कुछ साल पहले पहाड़ी पादगिरी पर बना गणेश मन्दिर का भी उल्लेख मिला है | इस
माता के दर्शन करने के लिए लाखों की संख्या में भक्तगण इक्कठा होते है |
हवा के गुब्बारे |
जयपुर में मजेदार छुट्टियाँ कैसे बिताएं :- जो व्यक्ति अपनी
छुट्टियों को आनन्द से और मजे से बिताना चाहते है तो जयपुर से अच्छा स्थान और कोई भी नही है | जयपुर
में आकर आप ऊंट की सवारी , गर्म हवा के गुब्बारे की सैर और रॉक कलाइम्बिंग जैसे
खेलों का आनन्द उठा सकते है | जयपुर में करौली और रणथन्भौर जैसे राष्ट्रिय
उद्यानों की सैर करने से भी आप अपना अच्छा समय व्यतीत कर सकते है | ये सभी स्थान
घूमने की दृष्टि से बहुत ही अच्छे है | जब भी आप जयपुर जाये वंहा की खरीदारी करना
ना भूले |
जयपुर का बाजार |
यंहा के बाजारों में विभिन्न प्रकार के गहने , कालीन , मिटटी के बर्तन और
रत्न आदि मिलते है | जो दिखने में सबसे हट के और अनोखे होते है | आमतौर पर यंहा
यात्री हाथ से बनी हुई चीजें खरीदते है | इसे आलावा एम आई रोड से ब्रांडेड कपड़ों
की भी खरीदारी करते है |
जयपुर का स्वादिस्ट भोजन :- जयपुर में प्याज , लहसुन और
अदरक को मिलाकर भोजन बनाया जाता है | जो खाने में चटपटा , मसालेदार और स्वादिष्ट
लगता है | यंहा पर मुख्य रूप से दाल बाटी – चूरमा प्याज की कचौड़ी , कबाब , मुर्गा
और अचारी मुर्ग आदि व्यंजन मिलते है | जिसका स्वाद इतना लाजवाब होता है की यदि
यंहा का खाना एक बार खाया जाये उसे आप दोबारा खाना चाहेंगे | जयपुर के नेहरु बाजार
में और जौहरी बाजार में जाकर आप इन सभी भोजन को खा सकते है | इन दोनों बाजारों में
तरह – तरह के भोजन मिलते है | खाने के आलावा आप जयपुर की प्रसिद्ध मिठाई घेवर ,
मिश्री , मावा और मावा कचौड़ी आदि का भी सेवन करना ना भूले | ये मिठाई देशभर में
प्रसिद्ध है | इन भोजन और मिठाइयों को लोग बेहद पसंद करते है |
जयपुर का आलीशान होटल |
जयपुर जाने का रास्ता :- जयपुर जाने के लिए आप किसी भी
मार्ग का प्रयोग कर सकते है | चाहें रेल मार्ग का , सड़क मार्ग का या फिर वायु
मार्ग का | ये मार्ग देश के सभी मुख्य हिस्सों से अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है | जयपुर
शहर से 13 किलोमीटर की दुरी पर एक हवाईअड्डा है | इस हवाईअड्डे का नाम सांगनेर
हवाईअड्डा है | यह एक अंतर्राष्ट्रीय हवाईअड्डा है जिसको मुंबई , दिल्ली ,
हैदराबाद और चंडीगढ़ के हवाईअड्डे से जोड़ा गया है |
रेल मार्ग से :- जयपुर का स्टेशन एक जंक्शन है | उ=इस रेलवे स्टेशन से आप किसी भी स्थान के लिए रेल ले सकते है | या रेल मार्ग कई गंतव्य स्टेशनों से जुड़ा हुआ है |
सड़क मार्ग :- यह मार्ग सबसे सस्ता और सुविधाजनक है | सड़क परिवहन का लाभ उठाएं इसके अंतर्गत जयपुर जाने के लिए कई शहरों से बसें चलाई गई है | नई दिल्ली से जयपुर तक जाने के लिए बस सीधी मिलती है |
इसके आलावा शहर में घूमने के लिए और दार्शनिक स्थलों पर जाने के लिए आप जयपुर सिटी ट्रांसपोर्ट लिमिटेड बस सेवाओं का लाभ उठा सकते है | जयपुर में हमेशा एक मौसम रहता है |
घूमने का स्थान |
गर्मियों में यंहा भयंकर गर्मी होती है जबकि सर्दी के दिन में बहुत ज्यादा ठण्ड होती है | जो व्यक्ति गर्मी के मौसम में घूमने के लिए आते वो अपने साथ हल्के कपड़े और टोपी लाना न भूलें | जयपुर में घूमने का उचित समय मार्च से अक्तूबर का होता है | इस समय में आप जयपुर जैसे पिंक सिटी का भरपूर आनन्द उठा सकते है |
जयपुर एक खुबसुरत
पिंक सिटी |Jaypur Shhr Ke Kile , Etihasik Imart ,
Jaypur Mein Pryatn Sthal , Jaypur Mein Tyouahron Ka Mela | Jaypur Jane Ka Rasta
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